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Showing posts from November, 2017

हाफ़िज़ सईद की रिहाई का जश्न मना रहे हैं राहुल -

हाफ़िज़ सईद की रिहाई का जश्न मना रहे हैं राहुल - मोदी जी बात बनी नहीं -हाफ़िज़ सईद रिहा हो गया ,पाक को अमरीकी सैन्य सहायत बहाल होगी -राहुल (यह सुर्खी थी एक हिंदी के अखबार की ) (गांधी तो ये व्यक्ति है नहीं ,क्योंकि पारसियों में गांधी उपनाम और वर्ण ,गोत्र आदि नहीं हैं ये नेहरू वंश का बचा खुचा उच्छिष्ट है वर्ण - संकर रूप में ),राहुल को गांधी कहना उस महात्मा की तौहीन है जिसे मोहनदास करमचंद गांधी कहा जाता था। खुद गांधी वंश के नातियों ने एतराज जताया है इन कांग्रेसियों के आरएसएस पर  आक्षेपों का और इनके गांधी उपनाम बनाये रहने पर ) हम अपने मूल विषय की  ओर  लौटते हैं -राहुल की मोदी जी पर टिपण्णी भारत के प्रधानमन्त्री पर तानाकशी मात्र नहीं है हाफ़िज़ सईद की रिहाई का सेलिब्रेशन है इस सोनिया पुत्र द्वारा। जबकि यह हमला मुंबई में कांग्रेस के सु -शासन में ही हुआ था। फिर भी हमारा मानना है दहशद गर्दी सारा राष्ट्र मिलकर रोकता है सामना करता है उसका मुंबई की शाश्वत चेतना के साथ ,मुंबई की स्पिरिट जैसा।ये दलगत मामला नहीं होता राष्ट्र की अस्मिता से जुड़ा मसला होता है।  ये कैसा कुलकलंक है भारतीय राजनीति का '

What are the vitamin D requirements? Does vitamin D deficiency cause symptoms?(Hindi -l )

Vitamin D deficiency and lnsufficiency :A global public-health problem (Hindi l ) दुनिया भर में फिलवक्त कोई एक अरब लोग या तो इस "सनशाइन विटामिन "की कमी से या फिर अ -अपर्याप्त आपूर्ति से ग्रस्त हैं और समस्या ने तकरीबन एक आलमी (ग्लोबल )रुख ले लिया लगता है।  इसी कमीबेशी के चलते यहां वहां कहीं बच्चों का सूखा रोग (रिकेट्स )तथा कहीं और ओस्टोमलासिया सिर उठाये हुए है।  और बात सिर्फ इतनी ही नहीं है जब जिन्न  बोतल से बाहर आता है तो पूरा पैंडोरा बॉक्स ही खुल जाता है एक समस्या दूसरी को जन्म ही नहीं देती उसका पोषण भी करने लगती है इसी का नतीजा है के इस कमीबेशी के चलते मेटाबोलिक डिसऑर्डर्स (चयापचयन संबंधी शिकायतें )ही नहीं ,ऐसी बीमारियां भी उभर रहीं हैं जिन्हें आटोइम्यून डिज़ीज़ कहा जाता है और जिनमें अपना रोगप्रतिरोधी तंत्र अपने तन को ही विजातीय मान ने की भूल कर बैठता है।  स्केलेटल डिज़ीज़ीज़ ,कैंसर रोग समूह ,हृदय एवं रक्तसंचरण सम्बन्धी कार्डिवस्कुलर रोग ,किस्म -किस्म के संक्रमण ,बोध -संबंधी (प्रज्ञानात्मक  दोष या कॉग्निटिव डिसऑर्डर्स ),मृत्यु-दर का बढ़ना  आदि भी मुखर हैं।  उल्लेखित रोगो

Shri Ram Katha by Shri Avdheshanand Giri Ji,Day l

तापस वेश विशेष उदासी , चौदह बरस राम वनवासी।  श्रवण अज्ञान मुक्ति का आत्म कल्याण का साधन है। आपका बोलना ,आपका देखना वह मांगल्य तभी होगा जब आप अच्छा सुनें।  शास्त्र का निर्देश हैं पहले आप अच्छा सुनें -स्वरूप अनुसंधान के लिए। मनन (contemplation )और ,निद्धियासन (constant contemplation )बाद के साधन हैं । जब ब्रह्मा का चातुर्य विस्मृत हो गया तब उन्होंने भी अपने लक्ष्य बोध के लिए श्री हरि की शरण ली उनसे कथा सुनी। शिव ने भी कथा सुनी।  श्रवण मंगलम  सुन ने की बात अति प्राचीन विधा है। ईश्वरीय सामर्थ्य उपलब्धता के लिए एक ही संस्कार है और वह है :श्रवण। वैसा सुने जिससे आपके भीतर के कपाट  खुलें  ,माधुर्य जगे।मंथरा कुसंग हैं ,श्रवण योग्य नहीं हैं। कैकई ने मंथरा की सुनी और राम के लिए वनवास ही नहीं माँगा ,उनके वस्त्र भी उतरवा लिए। ऐसी सजा इतिहास में आपने सुनी नहीं होगी।  श्रवण मंगलम -मांगल्य सुनो। 'श्रुति' श्रवण है। वेद सुने जाते हैं। पढ़े नहीं जाते।    राम कथा -संवाद पिटारी है। शिव -पार्वती संवाद , ऋषि याज्ञवाल्क्य और भारद्वाज ........    संवाद ,यहां तक के तुलसीदास का खुद के साथ भी संवाद